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Lata Mangeshkar - Ankhiyan Gulabi Jaise [Duet] Lyrics

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Lata Mangeshkar - Ankhiyan Gulabi Jaise [Duet] Lyrics
Official




[ Featuring Mohammed Rafi ]

अंखिया गुलाबी जैसे
मध की हैं प्यालिया
मध की हैं प्यालिया

जागी हुई आँखों में
शर्म की हैं ललिया
शर्म की हैं ललिया

अंखिया गुलाबी जैसे
मध की हैं प्यालिया
माध की हैं प्यालिया

जागी हुई आँखों में
शर्म की हैं ललिया
शर्म की हैं ललिया

दिन हैं जवानी के उल्फ़त की रातें
दिन हैं जवानी के उल्फ़त की रातें
तारों की छाँव में
हैं प्यार भरी बाते
तारों की छाँव में
हैं प्यार भरी बाते
सुलझी हुयी लातो में हो हो हो
सुलझी हुयी लटों में
उलझ गयी बलिया
अंखिया गुलाबी जैसे
मध की हैं प्यालिया
मध की हैं प्यालिया

जागी हुई आँखों में
शर्म की हैं ललिया
शर्म की हैं ललिया

दुनिया मेरी आँखों
में है तेरे ख़याल की
दुनिया मेरी आँखों
में है तेरे ख़याल की
भरी हुयी फूलो से
है झोली सवाल की
भरी हुयी फूलो से
है झोली सवाल की
खिली हैं बहारों
में हो हो हो
खिली हैं बहारों
में फूलो की डलिया
होय अंखिया गुलाबी जैसे
मध की हैं प्यालिया
मध की हैं प्यालिया

जागी हुई आँखों में
शर्म की हैं ललिया
शर्म की हैं ललिया

आधी आधी रात
कोई कहे जगाये रे
आधी आधी रात
कोई कहे जगाये रे
नाजुक कलाई मेरी
बल खा ना जाये रे
आधी आधी रात
कोई कहे जगाये रे
सुन सुन ख़ुश हुये हो हो हो
सुन सुन ख़ुश हुए
मीठी मीठी गालियाँ
अंखिया गुलाबी जैसे
मध की हैं प्यालिया
मध की हैं प्यालिया

जागी हुई आँखों में
शर्म की हैं ललिया
शर्म की हैं ललिया
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अंखिया गुलाबी जैसे
मध की हैं प्यालिया
मध की हैं प्यालिया

जागी हुई आँखों में
शर्म की हैं ललिया
शर्म की हैं ललिया

अंखिया गुलाबी जैसे
मध की हैं प्यालिया
माध की हैं प्यालिया

जागी हुई आँखों में
शर्म की हैं ललिया
शर्म की हैं ललिया

दिन हैं जवानी के उल्फ़त की रातें
दिन हैं जवानी के उल्फ़त की रातें
तारों की छाँव में
हैं प्यार भरी बाते
तारों की छाँव में
हैं प्यार भरी बाते
सुलझी हुयी लातो में हो हो हो
सुलझी हुयी लटों में
उलझ गयी बलिया
अंखिया गुलाबी जैसे
मध की हैं प्यालिया
मध की हैं प्यालिया

जागी हुई आँखों में
शर्म की हैं ललिया
शर्म की हैं ललिया

दुनिया मेरी आँखों
में है तेरे ख़याल की
दुनिया मेरी आँखों
में है तेरे ख़याल की
भरी हुयी फूलो से
है झोली सवाल की
भरी हुयी फूलो से
है झोली सवाल की
खिली हैं बहारों
में हो हो हो
खिली हैं बहारों
में फूलो की डलिया
होय अंखिया गुलाबी जैसे
मध की हैं प्यालिया
मध की हैं प्यालिया

जागी हुई आँखों में
शर्म की हैं ललिया
शर्म की हैं ललिया

आधी आधी रात
कोई कहे जगाये रे
आधी आधी रात
कोई कहे जगाये रे
नाजुक कलाई मेरी
बल खा ना जाये रे
आधी आधी रात
कोई कहे जगाये रे
सुन सुन ख़ुश हुये हो हो हो
सुन सुन ख़ुश हुए
मीठी मीठी गालियाँ
अंखिया गुलाबी जैसे
मध की हैं प्यालिया
मध की हैं प्यालिया

जागी हुई आँखों में
शर्म की हैं ललिया
शर्म की हैं ललिया
[ Correct these Lyrics ]
Writer: Anil Biswas, Ehsan Rizvi, Hansraj Behl
Copyright: Lyrics © Royalty Network
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