तूने प्यार से जो बँसुरी बजाई
तेरे पास मैं तो दौड़ी चली आई
तूने प्यार से जो बँसुरी बजाई
तेरे पास मैं तो दौड़ी चली आई
कैसा जादू तूने डाला, तन मन की सुध बिसराई
तूने प्यार से जो बँसुरी बजाई
तेरे पास मैं तो दौड़ी चली आई
रस की भरी हैं तेरी सरगम
बन के दीवानी मैं तो नाचू छम छम
रस की भारी हैं तेरी सरगम
बन के दीवानी मैं तो नाचू छम छम
झूम उठा मेरा तन मन
लागी जो लगान कभी होगी नही कम
मधुर मधुर तेरी धुन सुन के
मधुर मधुर तेरी धुन सुन के
लेने लगी हू अंगड़ाई
तूने प्यार से जो बँसुरी बजाई
तेरे पास मैं तो दौड़ी चली आई
भीगी हू सजन मैं तेरे रस मे
अब ना रही मैं अपने ही बस मे
भीगी हू सजन मैं तेरे रस मे
अब ना रही मैं अपने ही बस मे
जवँगी कहा पवँगी किसे
तू ही बसा हैं मेरी नस नस मे
साँवरी सलोनी तेरी छबि
साँवरी सलोनी तेरी छबि, अखियाँ बीच समाई
तूने प्यार से जो बँसुरी बजाई
तेरे पास मैं तो दौड़ी चली आई